
बीबीएन, नेटवर्क, 5 अगस्त। सरकार ने सूबे के 312 नगर निकायों में आज से एक नया अभियान शुरू किया है। इस अभियान के तहत सूबे में चिन्हित 3500 जर्जर भवनों को जमीज़ोद किया जाएगा। इस अभियान के तहत जयपुर नगर निगम ने मंगलवार को शहर के परकोटा क्षेत्र में एक 200 साल पुरानी इमारत को ढहा दिया। यह इमारत पूरी तरह जर्जर हो चुकी थी और कभी भी गिरकर बड़ा हादसा कर सकती थी।
राज्य स्तर पर अभियान, 3500 भवनों की हुई पहचान
स्वायत्त शासन विभाग के सचिव रवि जैन के निर्देशन में चल रहा यह अभियान पूरे प्रदेश में 312 नगर निकायों में चलाया जा रहा है। अब तक लगभग 3,500 जर्जर इमारतों की पहचान की गई है। संबंधित भवन मालिकों को नोटिस भेजे जा चुके हैं। उन्हें चेतावनी दी गई है कि निर्धारित समय में भवन नहीं हटाया गया तो निगम खुद कार्रवाई करेगा और खर्च भी भवन मालिक से वसूला जाएगा।
ध्वस्तीकरण से पहले की गई सभी सुरक्षा व्यवस्थाएं
परकोटा क्षेत्र में जिस इमारत को गिराया गया, उसे ध्वस्त करने से पहले निगम ने सुरक्षा के सभी इंतजाम किए। आसपास की गलियों में यातायात रोका गया और जेसीबी मशीनों की मदद से भवन को गिराया गया। अधिकारियों ने मौके पर मौजूद रहकर पूरी कार्रवाई की निगरानी की।
हालिया हादसों ने बढ़ाई प्रशासन की सतर्कता
झालावाड़ और जैसलमेर में हाल ही में स्कूल भवन गिरने की घटनाओं के बाद प्रशासन अब किसी भी तरह की ढील देने के मूड में नहीं है। बच्चों की मौत के बाद सरकार ने मानसून से पहले सभी जर्जर इमारतों को हटाने का फैसला लिया है। साथ ही सड़क मरम्मत और सफाई व्यवस्था पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
स्थानीय लोगों ने जताई संतुष्टि
निवासियों ने नगर निगम की इस कार्रवाई का स्वागत किया है। उनका कहना है कि ये इमारतें लंबे समय से खतरे का कारण बनी हुई थीं। अब जाकर उन्हें राहत मिली है। हालांकि कुछ लोगों ने इस कार्रवाई को विरासत के नुकसान के रूप में भी देखा है, लेकिन प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि जन सुरक्षा सबसे बड़ी प्राथमिकता है।
आगे भी जारी रहेगा अभियान
नगर निगम अधिकारियों के अनुसार, यह अभियान अब रुकने वाला नहीं है। सभी चिन्हित भवनों की नियमित निगरानी की जा रही है। जरूरत पड़ने पर और भी कड़े कदम उठाए जाएंगे।
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